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मध्यप्रदेश फिल्म पर्यटन नीति 2025 की स्वीकृति: प्रदेश को फिल्म पर्यटन अनुकूल राज्य बनाने की दिशा में एक कदम

18 February 2025 by
THE NEWS GRIT

मध्यप्रदेश मंत्रि-परिषद ने प्रदेश को फिल्म पर्यटन अनुकूल राज्य बनाने के उद्देश्य से "मध्यप्रदेश फिल्म पर्यटन नीति 2025" की स्वीकृति प्रदान की है। इस नीति का प्रमुख उद्देश्य राज्य में फिल्म उद्योग को बढ़ावा देना, निवेश आकर्षित करना और रोजगार के नए अवसर उत्पन्न करना है। इसके माध्यम से राज्य में सिनेमा उद्योग का समग्र विकास, स्थानीय प्रतिभाओं की पहचान, क्षेत्रीय भाषाओं का प्रोत्साहन, महिलाओं के सशक्तिकरण और बुनियादी ढांचे के विकास पर जोर दिया गया है।

नीति के प्रमुख तत्व

मध्यप्रदेश फिल्म पर्यटन नीति 2025 के अंतर्गत फिल्म शूटिंग अनुमतियों को सिंगल विंडो सिस्टम के तहत सरल और प्रभावी बनाया जाएगा। पब्लिक सर्विस गारंटी एक्ट के तहत फिल्म शूटिंग की अनुमति प्राप्त की जा सकेगी। इसके साथ ही स्थानीय और जनजातीय भाषाओं को बढ़ावा देने के लिए मालवी, बुंदेलखंडी, बघेलखंडी, निमाड़ी, गोंडी, भीली, कोरकू जैसी भाषाओं पर आधारित फिल्मों के लिए 10% अतिरिक्त अनुदान का प्रावधान किया गया है। बच्चों के सिनेमा को प्रोत्साहित करने के लिए बच्चों के विषयों पर आधारित फिल्मों के लिए भी 10% विशेष अनुदान दिया जाएगा। महिला केंद्रित फिल्मों के लिए भी अतिरिक्त 10% अनुदान का प्रावधान किया गया है।

फिल्म निर्माण को बढ़ावा देने के लिए वित्तीय अनुदान

राज्य में फिल्म निर्माण को प्रोत्साहित करने के लिए वित्तीय अनुदान की व्यवस्था की गई है। इसमें फीचर फिल्म के लिए अधिकतम 2 करोड़ रुपये, वेब सीरीज के लिए 1.5 करोड़ रुपये, टीवी शोज और सीरियल्स के लिए 1 करोड़ रुपये, डॉक्युमेंट्री फिल्मों के लिए 40 लाख रुपये, अंतर्राष्ट्रीय फिल्मों के लिए 1.3 मिलियन USD (करीब 10 करोड़ रुपये) और शॉर्ट फिल्मों के लिए 15 लाख रुपये तक का अनुदान प्रदान किया जाएगा। यह अनुदान तब प्रदान किया जाएगा, जब फिल्म की कुल शूटिंग का 75% हिस्सा मध्यप्रदेश में किया गया हो।

राज्य में फिल्म निर्माण का आर्थिक प्रभाव

मध्यप्रदेश राज्य में फिल्म निर्माण के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। वर्ष 2022 में राज्य को 'मोस्ट फिल्म-फ्रेंडली स्टेट' का पुरस्कार प्राप्त हुआ था। पिछले पांच वर्षों में राज्य में 350 से अधिक फिल्म परियोजनाएं सफलतापूर्वक पूरी हो चुकी हैं, जिनमें से 10 हिंदी फीचर फिल्में, 1 तेलुगु फिल्म और 4 वेब सीरीज को लगभग 21 करोड़ रुपये की वित्तीय सहायता प्राप्त हुई है। इसके अतिरिक्त, प्रदेश में फिल्मांकन से राज्य की अर्थव्यवस्था पर सकारात्मक प्रभाव पड़ा है और करीब 700 करोड़ रुपये का व्यय हुआ है, साथ ही एक लाख पचास हजार से अधिक अस्थायी रोजगार दिवस सृजित हुए हैं।

प्रसिद्ध फिल्म परियोजनाएं

विगत वर्षों में प्रदेश में फिल्मांकित की गई प्रमुख फिल्म परियोजनाओं में "भूल भुलैया 3", "सिक्सर", "लव की अरेंज मैरेज", "गुल्लक", "धड़क-2", "स्त्री", "पंचायत", "कोटा फैक्ट्री", "पोन्नियिन सेल्वन", "सिटीडेल (हनी बन्नी)", "औरों में कहा दम था", "डंकी", "पटना शुक्ला", "तिवारी", "फुकरे 3", "द रेलवे मेन", "सेल्फी", "लापता लेडीज", "युद्ध", "जरा हटके जरा बचके" जैसी प्रसिद्ध और लोकप्रिय फिल्में शामिल हैं, जिन्होंने प्रदेश को एक प्रमुख फिल्म निर्माण स्थल के रूप में स्थापित किया है।

मध्यप्रदेश फिल्म पर्यटन नीति 2025 का उद्देश्य राज्य में फिल्म निर्माण को बढ़ावा देना, बुनियादी ढांचे का विकास करना, और राज्य के भीतर रोजगार और आर्थिक अवसरों का सृजन करना है। यह नीति न केवल राज्य की आर्थिक स्थिति को मजबूती प्रदान करेगी, बल्कि राज्य की सांस्कृतिक धरोहर और स्थानीय भाषाओं को भी बढ़ावा देगी। इसके साथ ही, मध्यप्रदेश को एक प्रमुख फिल्म पर्यटन गंतव्य के रूप में स्थापित करने की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा।

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THE NEWS GRIT 18 February 2025
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