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स्टार्ट-अप नीति 2025: मध्यप्रदेश में नवाचार और उद्यमिता को मिलेगा नया रास्ता!!

20 February 2025 by
THE NEWS GRIT

​​​Primary Source- Prabhat khabar

मध्यप्रदेश सरकार ने प्रदेश में नवाचार, उद्यमिता और आर्थिक विकास को बढ़ावा देने के लिए मध्यप्रदेश स्टार्ट-अप नीति एवं कार्यान्वयन योजना-2025 का अनुमोदन किया है। यह नीति राज्य के युवा उद्यमियों और स्टार्ट-अप्स को न केवल प्रोत्साहित करेगी, बल्कि उन्हें एक स्थिर और समृद्ध भविष्य की दिशा में मार्गदर्शन भी प्रदान करेगी।

स्टार्ट-अप नीति एवं कार्यान्वयन योजना: यह  एक दस्तावेज है जिसे सरकार या कोई संगठन तैयार करता है ताकि नवाचार (innovation) और उद्यमिता (entrepreneurship) को बढ़ावा दिया जा सके। नए व्यवसायों, विशेष रूप से तकनीकी और नवाचारी व्यवसायों, को सशक्त बनाना है ताकि वे आर्थिक विकास में योगदान कर सकें।

मुख्य उद्देश्य और योजना का महत्व: मध्यप्रदेश की स्टार्ट-अप नीति का मुख्य उद्देश्य राज्य में नये और अभिनव विचारों को बढ़ावा देना है। इस नीति के तहत स्टार्ट-अप्स और इन्क्यूबेटर्स को वित्तीय एवं गैर-वित्तीय सहायता दी जाएगी। साथ ही, सार्वजनिक-निजी भागीदारी (PPP) के तहत राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अग्रणी संस्थाओं के साथ साझेदारी की जाएगी। इन साझेदारियों से प्रदेश में स्टार्ट-अप्स के लिए बेहतर अवसर पैदा होंगे और राज्य को एक वैश्विक नवाचार हब के रूप में स्थापित करने का मार्ग प्रशस्त होगा।

विशेष योजनाएं और लाभ: इस नीति के तहत स्टार्ट-अप्स को कई तरह की सहायता और प्रोत्साहन मिलेंगे। मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना के माध्यम से, बैंकों के माध्यम से स्टार्ट-अप्स को कोलेटरल-फ्री ऋण प्रदान किया जाएगा। इसके अलावा, स्टार्ट-अप्स के लिए ऋण गारंटी स्कीम के तहत कवरेज, गारंटी शुल्क की प्रतिपूर्ति और वितरित ऋण पर 5% तक का ब्याज अनुदान भी मिलेगा।

एक और महत्वपूर्ण पहलू है आन्त्रप्रेन्योर-इन-रेसिडेंस (ईआईआर) योजना, जिसके तहत प्रत्येक स्टार्ट-अप को 12 महीने तक 10,000 रुपये प्रति माह की वित्तीय सहायता दी जाएगी। साथ ही, 100 करोड़ रुपये का स्टार्ट-अप कैपिटल फंड और 30 लाख रुपये तक का सीड अनुदान भी उपलब्ध होगा।

​Primary Source- ETV Bharat

प्रदेश में मेगा इन्क्यूबेशन सेंटर का निर्माण और इसके सेटेलाइट सेंटरों का विकास, स्टार्ट-अप्स के लिए एक समर्पित और प्रेरणादायक कार्यक्षेत्र प्रदान करेगा। इस नीति का उद्देश्य 10,000 स्टार्ट-अप्स की स्थापना करना है, जिससे लगभग 1,02,000 रोजगार सृजित हो सकेंगे।

नवाचार को बढ़ावा देने वाली पहलें: डिजिटल मार्केटिंग, हैकाथॉन प्रोग्राम और वर्किंग स्पेस जैसी योजनाओं के माध्यम से, नवाचार को उद्यमों में बदलने का प्रयास किया जाएगा। इन पहलों से स्टार्ट-अप्स को अपने उत्पादों और सेवाओं को विश्व स्तर पर प्रमोट करने का अवसर मिलेगा और वे अपने विचारों को व्यावासिक रूप से विकसित कर सकेंगे।

दीर्घकालिक स्थिरता के लिए सलाह: मध्यप्रदेश स्टार्ट-अप एडवाइजरी काउंसिल के गठन से, राज्य के स्टार्ट-अप्स को दीर्घकालिक स्थिरता और विकास में मार्गदर्शन मिलेगा। इसमें उद्योग जगत के अग्रणी और वैश्विक निवेशकों का समूह स्टार्ट-अप्स को अपने अनुभव से लाभान्वित करेगा, जिससे राज्य में एक मजबूत और स्थिर स्टार्ट-अप इकोसिस्टम का निर्माण होगा।

आर्थिक सशक्तिकरण और आत्म-निर्भरता की दिशा में एक कदम: मध्यप्रदेश स्टार्ट-अप नीति-2025, राज्य के आर्थिक सशक्तिकरण और आत्मनिर्भरता की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगी। यह नीति न केवल प्रदेश को भारत के अगली बड़ी स्टार्ट-अप हब के रूप में स्थापित करने में मदद करेगी, बल्कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकसित भारत-2047 के सपने को साकार करने की दिशा में भी योगदान देगी।

मध्यप्रदेश की यह नई स्टार्ट-अप नीति न केवल प्रदेश में आर्थिक प्रगति और समृद्धि को बढ़ावा देगी, बल्कि राज्य के युवाओं को उनके व्यवसायिक विचारों को साकार करने का एक उत्कृष्ट अवसर प्रदान करेगी। इस नीति के जरिए, मध्यप्रदेश असीम संभावनाओं के नए अध्याय की ओर बढ़ेगा।

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THE NEWS GRIT 20 February 2025
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